हाल ही में ही राजस्थान के जैसलमेर जिले के मोहनगढ़ गांव से एक आश्चर्यचकित करने वाली घटना सामने आई है। जिसमें बताया जा रहा है कि जैसलमेर के मोहनगढ़ गांव में जमीन में ट्यूबवेल खोदने का कार्य चल रहा था जिससे जमीन फटने की घटना प्रकाश में आई। साथ ही अनियंत्रित जलधारा भी जमीन से निकल रही है। बताया जा रहा है ट्यूबवेल खोदने वाला ट्रक 860 मीटर तक जमीन में धंस गया है।
वैज्ञानिकों के अनुसार
इस घटना को देखकर स्थानीय लोगों ने अलग-अलग बातें बनाना शुरू कर दिया जैसे की रेगिस्तान में पुनः सरस्वती नदी का आगमन हुआ है। और रेगिस्तान में भी अब पुनः सरस्वती नदी जमीन पर आई है। पर भूजल वैज्ञानिक डॉ नारायण ईणखिया के अनुसार इस घटना को सरस्वती नदी से जोड़ना एक जल्दबाजी हो सकती है इसके बारे में विशेष जांच की जाएगी।
राजस्थान के जैसलमेर में जमीन फटने वी अनियंत्रित पानी के आने से स्थानीय प्रशासन ने आसपास के 500 मीटर तक के इलाके को खाली करवा दिया। साथ ही यह अलर्ट जारी करवाया कि कोई भी जन्म इस क्षेत्र में ना आए। रिपोर्ट के अनुसार बताया जा रहा है कि लगभग दो दिन से यह जलधारा का नियंत्रित रूप से चल रही है जिसे देखकर यह कहा जा सकता है कि ” जैसलमेर: रेगिस्तान में समुद्र का आगमन” हुआ।
जनता में माहौल
मोहनगढ़ गांव के इस परिदृश्य को देखकर स्थानीय लोगों में एक तरफ तो सरस्वती नदी के आगमन की खुशी और दूसरी तरफ किसी अन्य दुर्घटना होने की आशंका का भय सभी में व्याप्त है। जलधारा का अनियंत्रित रूप से बहना साथ ही लगातार निकलना स्थानीय लोगों के लिए चिंता का विषय बन चुका है।
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